hamburgerIcon
login

VIEW PRODUCTS

ADDED TO CART SUCCESSFULLY GO TO CART
  • Home arrow
  • Contraceptive arrow
  • Birth Control Pills in Hindi | बर्थ कंट्रोल पिल्स बंद करने के कितने दिन बाद हो सकता है गर्भधारण? arrow

In this Article

    Birth Control Pills in Hindi | बर्थ कंट्रोल पिल्स बंद करने के कितने दिन बाद हो सकता है गर्भधारण?

    Contraceptive

    Birth Control Pills in Hindi | बर्थ कंट्रोल पिल्स बंद करने के कितने दिन बाद हो सकता है गर्भधारण?

    25 August 2023 को अपडेट किया गया

    अनवांटेड प्रेग्नेंसी से बचने का सबसे आसान और पॉपुलर तरीका है बर्थ कंट्रोल पिल्स (Birth control pills). इन पिल्स का कोई साइड इफेक्ट नहीं होता है और ये सेहत के लिए पूरी तरह से सेफ होती हैं. लेकिन ये सवाल भी अक्सर मन में आता है कि गर्भनिरोधक गोलियां बंद करने के कितने दिन बाद (how soon can you get pregnant after stopping the pill) प्रेग्नेंट हो सकते हैं. बर्थ कंट्रोल के ऐसे सभी तरीके़ जो हार्मोन्स पर आधारित हो उनके प्रयोग के साथ मन में ये आशंका भी बनी रहती है कि इन्हें छोड़ने के बाद शरीर को अपनी नेचुरल रिदम में आने में कितना वक़्त लगेगा और कितनी जल्दी प्रेग्नेंसी हो पाएगी? आइये सबसे पहले जानते हैं इन तरीक़ों के बारे में.

    इसे भी पढ़ें : सेक्स के कितने दिन बाद प्रेग्नेंसी कंफर्म होती है?

    बर्थ कंट्रोल के तरीक़े क्या होते हैं? (Birth control types in hindi)

    मिनी पिल (Mini Pill)

    इसे कॉन्ट्रासेप्टिव पिल्स (Contraceptive Pills) या बर्थ कंट्रोल पिल्स (Birth control pills) और कंडोमिनियम पिल के नाम से भी जाना जाता है जिसे बर्थ कंट्रोल के लिए हर दिन लेना होता है. सभी तरह की कॉन्ट्रासेप्टिव पिल्स (Contraceptive Pills) में प्रोजेस्टेरोन (projesteron) हार्मोन होता है जो सर्विकल म्यूकस (cervical mucus) को इतना गाढ़ा कर देता है जिससे स्पर्म्स एग तक नहीं पहुँच पाते और प्रेग्नेंसी की संभावना न के बराबर हो जाती है.

    इंप्लांट (Implant)

    इंप्लांट एक छोटी-सी प्रोटीन रॉड होती है जिसे बाँह के नीचे की स्किन में लगा दिया जाता है. यह शरीर में लगातार प्रोजेस्टेरोन (projesteron) हार्मोन की एक निश्चित मात्रा रिलीज़ करती रहती है और बर्थ कंट्रोल डिवाइस की तरह काम करती है.

    कॉन्ट्रासेप्टिव इंजेक्शन (Contraceptive Injection)

    कॉन्ट्रासेप्टिव इंजेक्शन बर्थ कंट्रोल का एक ऐसा तरीक़ा है जिसमें मुख्य रूप से प्रोजेस्टेरोन हार्मोन का प्रयोग किया जाता है और इसे हर महीने लगाते हैं.

    आईयूडी (IUD)

    इसे कॉयल (Coil) भी कहा जाता है और ये भी एक कॉन्ट्रासेप्टिव डिवाइस की तरह काम करती है. यह दो तरह का होता है नॉर्मल कॉयल और कॉपर टी (Copper T) जिसे डॉक्टर महिला शरीर में फिट करते हैं. इसका सबसे बड़ा फायदा ये है कि ये वेजाइनल हेल्थ और मेंस्ट्रुअल साइकिल को डिस्टर्ब किए बिना बर्थ कंट्रोल करता है.

    इसे भी पढ़ें : जल्दी प्रेग्नेंट होना है? ट्राई करें ये सेक्स पोजीशन!

    कॉन्ट्रासेप्टिव पैच (Contraceptive Patch)

    कॉन्ट्रासेप्टिव पैच (contraceptive patch) भी बर्थ कंट्रोल की एक सुविधाजनक डिवाइस है जो महिलाओं के कंधे, हिप्स या पीठ के आसपास लगाया जाता है. इसमें दो मुख्य हार्मोन होते हैं एस्ट्रोजेन (estrogen)और प्रोजेस्टिन (progestin) जिनसे ओवेरीज़ में एग के प्रोडक्शन को रोक दिया जाता है.

    आईयूएस (IUS)

    इसका पूरा नाम है ‘इंट्रायूटेरिन डिवाइस’ (Intrauterine Device) जो तांबे या प्लास्टिक से बनी होती है और इसे डॉक्टर द्वारा ही लगवाया जाता है. यह अलग-अलग साइज़ और शेप की होती है और इसका मुख्य काम प्रेग्नेंसी को होने से रोकना है. इसकी कुछ वैरायटी में हार्मोन भी एड किए जाते हैं ताकि एक्सट्रा सेफ़्टी मिल सके.

    तो अब आप समझ गए होंगे कि बर्थ कंट्रोल पिल्स क्या होती है (Birth control pills kya hoti hai) और गोलियों के अलावा बर्थ कंट्रोल के अन्य तरीके़ कौन-से होते हैं. आइये अब समझते हैं कि गर्भनिरोधक गोलियां कैसे काम करती हैं.

    इसे भी पढ़ें : जल्दी प्रेग्नेंट होने में मदद करेंगे ये टिप्स!

    गर्भनिरोधक गोलियां कैसे करती हैं काम? (How do birth control pills work in Hindi)

    गर्भ निरोधक गोलियां या बर्थ कंट्रोल पिल्स (birth control pills) में फ़ीमेल सेक्स हार्मोन एस्ट्रोजन और प्रोजेस्टेरोन सिंथेटिक फॉर्म में होते हैं जो प्रेग्नेंसी नहीं होने देते. ये फ़ीमेल रीप्रोडक्टिव सिस्टम में तीन तरह के बदलाव लाते हैं जिससे गर्भ नहीं ठहरता.

    ओव्यूलेशन को रोकना (Preventing Ovulation)

    गर्भ निरोधक गोलियां शरीर में फोलिकल-स्टिम्युलेटिंग हार्मोन (HFS) और लुटिनाइजिंग हार्मोन (LH) के प्रोडक्शन को बंद कर देती हैं. इन हार्मोन्स के अभाव में ओवरीज़ से एग रिलीज़ होने की प्रक्रिया (ovulation) रुक जाती है और प्रेग्नेंसी नहीं हो पाती.

    इसे भी पढ़ें : गर्भधारण के लिए ज़रूरी है ओव्यूलेशन. जानें कैसे करते हैं इसे ट्रैक

    सर्विकल म्यूकस को गाढ़ा करना (Thickening of cervical Mucus)

    गर्भ निरोधक गोलियां (birth control pills) सर्विकल म्यूकस में भी परिवर्तन लाती हैं जिससे वह गाढ़ा हो जाता है. म्यूकस के गाढ़ेपन के कारण स्पर्म सर्विक्स से आगे बढ़ते हुए यूट्रस तक नहीं जा पाते और न ही एग से फर्टिलाइज़ेशन हो पता है. इससे प्रेग्नेंसी रुक जाती है.

    यूटरिन लाइनिंग में बदलाव (Changing the uterine lining)

    बर्थ कंट्रोल पिल्स में हार्मोन्स के प्रभाव के कारण एंडोमेट्रियम (endometrium) यानि कि गर्भाशय की अंदरूनी परत में इस तरह का बदलाव आता है जिससे फर्टिलाइज्ड एग यूट्रस में इंप्लांट नहीं हो पाता. इस तरह ओव्यूलेशन होने पर भी प्रेग्नेंसी नहीं होती है.

    बर्थ कंट्रोल पिल्स का असर तब तक रहता है जब तक आप उन्हें नियमित रूप से लेते हैं. पिल्स को बीच में छोड़ देने या सही समय पर लेना भूल जाने से इनकी सुरक्षा में कमी आ जाती है और आप को अनचाही प्रेग्नेंसी हो सकती है.

    लेकिन उस स्थिति में जब परिवार नियोजन अपनाने के कुछ समय के बाद आप माँ बनना चाहें तो यह सवाल मन में आना स्वाभाविक है कि गर्भनिरोधक गोलियां बंद करने के कितने दिन बाद प्रेग्नेंट हो सकते हैं (how soon can you get pregnant after stopping the pill). आइये जानते हैं बर्थ कंट्रोल पिल्स बंद करने के बाद प्रेग्नेंसी होने में कितना समय लग सकता है.

    गर्भनिरोधक गोलियां बंद करने के कितने दिन बाद ठहरता है गर्भ? (How long does it take to get pregnant after stopping birth control pills in Hindi)

    बर्थ कंट्रोल पिल्स बंद करने के बाद प्रेग्नेंसी एस्टेब्लिश होने में लगने वाला वक़्त हर महिला के लिए अलग हो सकता है क्योंकि उसके मेंस्ट्रूअल साइकिल और फर्टिलिटी को नॉर्मल होने में कुछ समय लगता है. मोटे तौर पर एक महिला गोलियां बंद करने के बाद एक से तीन महीने के अंदर दोबारा नेचुरल तरीक़े से ओव्यूलेट करना शुरू कर देती है और इसी के साथ उसके गर्भधारण की संभावना दोबारा बन जाती है. जहाँ बर्थ कंट्रोल पिल छोड़ते ही कुछ महिलाएँ तुरंत गर्भधारण कर लेती हैं वहीं कुछ के रीप्रोडक्टिव सिस्टम को सामान्य होने में समय लगता है जिसमें हार्मोनल बैलेंस, एज और हेल्थ कंडीशंस जैसे फ़ैक्टर्स भी महत्वपूर्ण हैं.

    आमतौर पर यह सलाह दी जाती है कि आप पिल छोड़ने के बाद 2 से 3 महीने तक बर्थ कंट्रोल के अन्य उपाय जैस-- कंडोम या फर्टिलिटी अवेयरनेस मेथड्स का प्रयोग करें जिससे आपकी बॉडी को अपनी

    नेचुरल रिदम में वापस आने और मेंस्ट्रूअल साइकिल के नॉर्मल हो जाने का वक़्त मिले. इस तरह से आपका शरीर प्रेग्नेंसी के लिए ज़्यादा बेहतर तरीके से तैयार हो पाएगा.

    डॉक्टर से कब मिलें? (When to seek medical advice in Hindi)

    बर्थ कंट्रोल पिल्स छोड़ने के लगभग तीन से चार महीने के बाद भी अगर आप को प्रेग्नेंसी न हो पाये तो आपको डॉक्टर से मिलना चाहिए.


    प्रो टिप (Pro Tip)

    फैमिली प्लानिंग के लिए बर्थ कंट्रोल पिल एक आसान और असरदार तरीक़ा है जिसका फर्टिलिटी पर कोई नेगेटिव असर नहीं पड़ता है. जब भी आप परिवार बढ़ाने के लिए तैयार हो, बस इन गोलियों को लेना बंद कर दें और ऐसा करते ही दो से तीन महीने के अंदर आपका शरीर प्रेग्नेंसी के लिए पूरी तरह से तैयार हो जाएगा.

    रेफरेंस

    1. Girum T, Wasie A. (2018). Return of fertility after discontinuation of contraception: a systematic review and meta-analysis.

    2. Bansode OM, Sarao MS, Cooper DB. (2022). Contraception.

    Is this helpful?

    thumbs_upYes

    thumb_downNo

    Written by

    Kavita Uprety

    Get baby's diet chart, and growth tips

    Download Mylo today!
    Download Mylo App

    RECENTLY PUBLISHED ARTICLES

    our most recent articles

    Mylo Logo

    Start Exploring

    wavewave
    About Us
    Mylo_logo

    At Mylo, we help young parents raise happy and healthy families with our innovative new-age solutions:

    • Mylo Care: Effective and science-backed personal care and wellness solutions for a joyful you.
    • Mylo Baby: Science-backed, gentle and effective personal care & hygiene range for your little one.
    • Mylo Community: Trusted and empathetic community of 10mn+ parents and experts.